नया सबेरा नेटवर्क
भारत अमेरिका के गठजोड़ से विश्व बौद्धिक संपदा क्षमता में अभूतपूर्व विकास होगा क्योंकि दोनों के संकल्प जांबाज़ी और जज़्बे की भावना एक जैसी - एड किशन भावनानी
गोंदिया - भारतीय प्रधानमंत्री के चार दिवसीय अमेरिका दौरे जो कि 25 सितंबर 2021 को समाप्त होगा, से अभूतपूर्व आयाम स्थापित होने की पूरी संभावना है। क्योंकि जिस प्रस्तावित सकारात्मक रणनीतिक रोडमैप के साथ पीएमकी मुलाकात विश्व के टॉप नेताओं, सीईओ, अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस, राष्ट्रपति जो बाईडेन, क्वाड देशों के टॉप नेताओं और संयुक्त राष्ट्र महासभा में संबोधन है और जिस सकारात्मक संकल्प कुछल नेतृत्व क्षमता, छैली के साथ भारत नें अपना पक्ष रखा है, उससे संपूर्ण विश्व की नजरें आज भारत की ओर लगी हुई है, क्योंकि भविष्य में इसके कितने सकारात्मक लाभकारी,मानव कल्याणकारी, आतंकवाद विरोधी, सक्षमजलवायु परिवर्तन, महामारीयों का सकारात्मक उपाय व नियंत्रण, विश्व बौद्धिक संपदा का सकारात्मक विकास सहित अनेकों मुद्दों पर भारत सहित चार देशों की वैचारिक समानता और सहयोग से कार्य करेंगे तो निश्चित रूप से कोविड-19 महामारी के बाद बदलती मानवींय जीवन छैली में एक अभूतपूर्व सकारात्मक लाभकारी पड़ा सिद्ध होगा।...साथियों बात अगर हम भारत और अमेरिकी की करें तो दोनों के वर्तमान टॉप नेताओं की जिस तरह 24 सितंबर 2021 को देर रात्रि मुलाकात हुई और बयान इलेक्ट्रॉनिक मीडिया चैनलों के हस्ते सामने आए उसेसे हमें विश्वास है कि दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र भारत और दुनिया के सबसे पुराने लोकतंत्र अमेरिका के टॉप नेताओं की केमिस्ट्रीसबसे प्रगाढ़ होगी और भारत-अमेरिका के वैचारिक, क्रियात्मक, गठजोड़ से विश्व बौद्धिक संपदा क्षमता का अभूतपूर्व विकास होगा।क्योंकि साथियों, मेरा मानना है कि अमेरिका की भारी उन्नति के पीछे कहीं ना कहीं भारतीय बौद्धिक संपदा क्षमता का भी अभूतपूर्व हाथ है, क्योंकि भारी मात्रा में आज भी भारतीय मूल के डॉक्टर, इंजीनियर व अन्य प्रोफेशन प्रौद्योगिकी, एक्सपर्ट किसी न किसी रूप में अमेरिका मैं निजी व शासकीय सेवाओं में हैं और टॉप हस्तियों में भी भारतीय मूल के कई बौद्धिक संपदा हैं चाहे वह कल्पना चावला, कमला हैरिस सहित भारतीय मूल के अमेरिकी सांसद और अन्यों का बहुत सकारात्मक योगदान भी है।...साथियों बात अगर हम 24 सितंबर 2021 को देररात्रि भारतीय पीएम और अमेरिकन राष्ट्रपति की मुलाकात की करें तो इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के अनुसार जनवरी 2021 में अमेरिका के 46 वें राष्ट्रपति बनने के बाद यह पहला मौका है जब अमेरिकी राष्ट्रपति जो बिडेन और भारतीय पीएम की मुलाकात हुई है मुलाकात में पीएम ने कहा कि,आज का द्विपक्षीय शिखर सम्मेलन महत्वपूर्ण है। हम इस सदी के तीसरे दशक की शुरुआत में मिल रहे हैं। आपका नेतृत्व निश्चित रूप से इस दशक को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। यह दशक भारत औरअमेरिका के लिए बेहद अहम होने वाला है। भारत और अमेरिका के बीच और भी मजबूत दोस्ती के बीज बोए गए हैं। बैठक में पीएम गर्मजोशी से स्वागत के लिए राष्ट्रपति बाइडन का आभार जताया, इसके अलावा उन्होंने कहा कि अमेरिका के विकास में भारत के टैलेंट की अमह भूमिका रही है, उन्होंने कहा कि भारत और अमेरिका में ट्रस्टीशिप की भावना एक जैसी है। मुलाकात के दौरान पीएम ने कहा कि भारत और अमेरिका के संबंधों में व्यापार महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।महात्मा गांधी का जिक्र करते हुए पीएम ने ट्रस्टीशिप को लेकर उनकी अवधारणाओं को जिक्र किया और कहा कि आज यह दुनियाभर में समय की मांग है। भारत और अमेरिका के बीच ट्रेड का अपना महत्व है। इस दशक में ट्रेड के क्षेत्र में भी हम एक दूसरे को काफी मदद कर सकते हैं। बहुत सी चीजें हैं जो अमेरिका के पास हैं जिनकी भारत को ज़रूरत है। बहुत सी चीजें भारत के पास हैं जो अमेरिका के काम आ सकती हैं। भारत और अमेरिका के संबंधों में मैं ट्रांसफॉर्मेटरी देख रहा हूं तब मैं देख रहा हूं कि लोकतांत्रिक परंपराओं और मूल्यों के लिए हम समर्पित हैं, वो ट्रेडिशन, उसका महत्व और बढ़ेगा।पीएम ने कहा कि आपने बताया कि 40 लाख भारतीय अमेरिका को मजबूत कर रहे हैं। लोगों से लोगों का संपर्क महत्वपूर्ण है और इसमें आपका योगदान काफी महत्वपूर्ण रहने वाला है। इसी तरह भारत और अमेरिका के रिश्तों में टेक्नोलॉजी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। आगे पीएम ने कहा, आपने (जो बाइडेन) पदभार संभालने के बाद कोविड हो, जलवायु परिवर्तन हो या क्वाड हो, हर क्षेत्र में एक यूनिक पहल की है जो आने वाले दिनों में बहुत बड़ा प्रभाव पैदा करेगा। उन्होंने कहा, मुझे विश्वास है कि आज की हमारी बातचीत में भी इन सभी मुद्दों पर हम विस्तार से विचार विमर्श कर सकते हैं। हम कैसे साथ चल सकते हैं, दुनिया के लिए भी हम क्या अच्छा कर सकते हैं, इसपर हम आज सार्थक चर्चा करेंगे।इसके बाद उन्होंने रूजवेल्ट रूम में विजिटर बुक में साइन भी किए। साथियों, पीएम की पिछले सात सालों में यह सातवीं अमेरिकी यात्रा है।...साथियों बात अगर हम मुलाकात के दौरान अमेरिकी राष्ट्रपति की करें तो उन्होंने उप-राष्ट्रपति कमला हैरिस की मां का जिक्र करते हुए कहा कि वह भारत से थीं उप-राष्ट्रपति की मां जानी-मानी वैज्ञानिक भी थीं। बाइडेन ने आगे कहा कि आज के समय में शांति, सहनशीलता के मूल्यों की जरूरत है। हमारी साझेदारी पहले से और ज्यादा बढ़ रही है। जो बाइडेन ने कहा कि दोनों देशों के बीच रिश्ते और मजबूत होंगे, पीएम के व्हाइट हाउस आने से खुश हूं। जो बाइडेन ने ट्वीट कर बताया है कि आज सुबह मैं एक द्विपक्षीय बैठक के लिए व्हाइट हाउस में भारतीय पीएम की मेजबानी कर रहा हूं। मैं अपने दोनों देशों के बीच गहरे संबंधों को मजबूत करने, एक स्वतंत्र और खुले इंडो-पैसिफिक को बनाए रखने और कोविड-19 से लेकर जलवायु परिवर्तन तक हर चीज पर बात करने के लिए तत्पर हूं। अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, आज हम भारत-अमेरिका संबंधों में एक नए अध्याय की शुरुआत कर रहे हैं। हर रोज चार मिलियन भारतीय-अमेरिकी अमेरिका को मजबूत बना रहे हैं।...साथियों बात अगर हम दोनों नेताओं के मुलाकात के बीच उपराष्ट्रपति कमला हैरिस के ट्वीट की करे तो, बैठक के बीच उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने ट्वीट कर कहा कि मैंने अमेरिका और भारत के बीच रणनीतिक साझेदारी को लेकर पीएम से मुलाकात की। एक साथ काम करते हुए हम महत्वपूर्ण वैश्विक मुद्दों पर प्रगति कर सकते हैं। इसमें कोविड-19 महामारी से लेकर जलवायु संकट तक, लोकतंत्र को मजबूत करने और उसकी रक्षा करना आदि शामिल है। अतः अगर हम उपरोक्त पूरे विवरण का अध्ययन कर उसका विश्लेषण करें तो हम पाएंगे के दुनियां के सबसे बड़े लोकतंत्र भारत और दुनिया के सबसे पुराने लोकतंत्र अमेरिका के टॉप नेताओं की मुलाकात से दोनों की केमिस्ट्री सबसे अधिक प्रगाढ़ होगी। भारत अमेरिका के गठजोड़ से विश्व बौद्धिक संपदा क्षमता के में अभूतपूर्व विकास होगा क्योंकि दोनों के संकल्प जांबाज़ी और जज़्बे की भावना एक जैसी है।
संकलनकर्ता- कर विशेषज्ञ एडवोकेट किशन सनमुखदास भावनानी गोंदिया महाराष्ट्र
from Naya Sabera | नया सबेरा - No.1 Hindi News Portal Of Jaunpur (U.P.) https://ift.tt/3AGJ4Vf
from NayaSabera.com
0 Comments